"जेएनयू में एक महिला प्रोफेसर के साथ इतनी बदसलूकी? यह कोई छात्र आन्दोलन नहीं हो सकता

"जेएनयू में एक महिला प्रोफेसर के साथ इतनी बदसलूकी? यह कोई छात्र आन्दोलन नहीं हो सकता। ताज्जुब नहीं होगा यदि यह कपड़े फाड़ने का प्रयास करने वाली वामपंथी विचारधारा की समर्थक छात्रा, कल महिला अधिकारों पर भाषणबाजी करते हुए दिखे। शर्मनाक!"


JNU में महिला प्रोफेसर के कपड़े फाड़ने की कोशिश, विरोध-प्रदर्शन के दौरान पुलिस से भिड़े छात्र


जेएनयू के छात्र-छात्राएँ महिला अधिकारों का झंडा उठाए चलते हैं, लेकिन उनके कैम्पस से ही ऐसी शर्मनाक ख़बर आई है, जो उनकी कथनी और करनी में फर्क उजागर करती है। जेएनयू में छात्रों के प्रदर्शन के दौरान एक महिला प्रोफेसर को प्रताड़ित किया गया।


 
जेएनयू, महिला प्रोफेसर
जेएनयू में महिला प्रोफ़ेसर के साथ बदसलूकी करने की घटना सामने आई है



 
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के छात्र महिला अधिकारों और महिलाओं की सुरक्षा के लिए झंडा उठाए चल रहे हैं। जेएनयू की छात्राएँ भी ख़ुद को समाज के लिए चिंतित दिखाने में कोई कसर नहीं छोड़तीं। ऐसे में यूनिवर्सिटी कैम्पस से ही महिलाओं को अपमानित किए जाने की ख़बर आए तो आपका रिएक्शन क्या होगा? यह भी बताना आवश्यक है कि यह काम जेएनयू उन्हीं छात्राओं का है जो दुनिया के सामने खुद को महिलाओं के सम्मान का झंडाबरदार बताती हैं। जेएनयू में चल रहे विरोध-प्रदर्शन के बीच आए इस शर्मनाक वीडियो को लेकर सोशल मीडिया पर उक्त छात्रों की थू-थू हो रही है।


राष्ट्रीय अल्पसंख़्यक आयोग के सदस्य आतिफ रशीद ने ट्विटर पर एक वीडियो पोस्ट किया, जो जेएनयू में चल रहे हालिया विरोध-प्रदर्शन से जुड़ा है। इस वीडियो में साफ़ दिख रहा है कि छात्राएँ एक महिला प्रोफेसर के साथ बदसलूकी कर रही हैं। आतिफ रशीद ने इस ट्वीट को शेयर करते हुए लिखा:


जेएनयू में एक महिला प्रोफेसर के साथ इतनी बदसलूकी? यह कोई छात्र आन्दोलन नहीं हो सकता। ताज्जुब नहीं होगा यदि यह कपड़े फाड़ने का प्रयास करने वाली वामपंथी विचारधारा की समर्थक छात्रा, कल महिला अधिकारों पर भाषणबाजी करते हुए दिखे। शर्मनाक!


जेऐनयू में एक महिला प्रोफेसर के साथ इतनी बदसलूकी। यह तो छात्र आन्दोलन नही हो सकता। ताज्जुब नही होगा यदि यह कपड़े फाड़ने का प्रयास करने वाली वामपंथी विचारधारा की समर्थक छात्रा, कल तक महिला अधिकारों पर भाषणबाजी करते हुए दिखे। शर्मनाक
 
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जेएनयू के कई छात्र विश्वविद्यालय प्रशासन पर छात्र-विरोधी नीतियाँ बनाने का आरोप लगा कर विरोध-प्रदर्शन में लगे हुए हैं। सोमवार (नवंबर 11, 2019) को दीक्षांत समारोह के दौरान उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने मुख्य अतिथि के रूप में हिस्सा लिया और समारोह को सम्बोधित किया। इसके बावजूद छात्र लगातार प्रदर्शन और नारेबाजी करते रहे। ये छात्र ड्राफ्ट हॉस्टल मैन्युअल के ख़िलाफ़ प्रदर्शन कर रहे हैं, जिसे इंटर-हॉल प्रशासन द्वारा लाया गया है। छात्रों के आरोप है कि इस मैन्युअल के लागू होने के बाद फी बढ़ जाएगी, ड्रेस कोड लागू हो जाएगा और छात्रों के लिए कर्फ्यू जैसा माहौल होगा।


आज छात्रों को रोकने के लिए पुलिस ने वाटर कैनन का भी प्रयोग किया। पुलिस और छात्रों के बीच झड़प भी हुई। इससे पहले जेएनयू के एक डीन की नारेबाजी की वजह से तबीयत ख़राब हो गई थी। छात्रों ने उन्हें घेर कर प्रदर्शन किया था। जिस एम्बुलेंस से उन्हें लेकर हॉस्पिटल ले जाया जा रहा था, छात्रों ने उसे घेर कर प्रदर्शन किया था। पिछले साल भी जेएनयू के छात्रों ने दीक्षांत समारोह का बहिष्कार करने की घोषणा की थी।



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जेएनयू में विरोध प्रदर्शन
अगर पहले और अभी के फी की बात करें तो मेस बिल और इस्टैब्लिशमेंट चार्ज में कोई बदलाव नहीं किया गया है। छात्रों को बस बिजली और सफाई का बिल देने कहा गया। इसके विरोध में शुरू हुए प्रदर्शन को वामपंथी छात्र नेता हिंसक रूप देने की कोशिश कर रहे हैं।


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