लोकसभा में मोदी सरकार के पास बहुमत अपने बल पर है, लेकिन राज्यसभा में बहुमत नहीं है। सरकार को बार-बार एनडीए और अन्य दलों को साथ लेना पड़ता है। विधेयक पास कराने में सरकार को कड़ी मशक्कत करनी पड़ती है।
लोकसभा चुनाव जीतने के बाद भाजपा ने राज्यसभा पर फोकस करना शुरू कर दिया है। मोदी सरकार धीरे-धीरे विपक्षी सांसदों को अपने पाले में जोड़ रही है। एनडीए सरकार राज्यसभा में इस कसक को कम कर रही है।
ऐसा अनुमान है कि 2020 तक भाजपा को राज्यसभा में बहुमत हो जाएगा। इससे पहले ही भाजपा विपक्षी दलों में सेंध लगा दी है। सबसे पहले उसने चंद्रबाबू नायडू की पार्टी टीडीपी के 6 राज्यसभा सांसदों में 4 को अपने पाले में कर लिया।
इसके बाद हरियाणा के ओमप्रकाश चौटाला की पार्टी इनेलो के एकमात्र राज्यसभा सांसद को अपने पाले में किया। टीडीपी और इनेलो के बाद कांग्रेस के 2 और सपा के 3 सांसदों ने भाजपा का दामन थाम लिया। यानी अभी तक 10 राज्यसभा सांसद भाजपा में शामिल हो गए हैं।