एडमिरल करमबीर सिंह ने भारतीय नौसेना के प्रमुख की जिम्मेदारी संभाल ली है। उनका फोकस हिंद महासागर क्षेत्र में भारत की मौजूदगी और विस्तार पर रहने की संभावना है, जहां चीन लगातार विस्तारवादी नीति अपनाए हुए है।![](https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhg_Cub4wJmWRt2k3m_yk_YbMqXOUakonMG8MgX8Yx6bTWA0TKWiu-bZbDHwaZk1InV9PteZusiR-78vab8g5RH3AwJr2kY9Soxh0F7vOIICUJFeItt6ENq41d29R2O2MXGQYgJget4NlY/)
नई दिल्ली : एडमिरल करमबीर सिंह ने शुक्रवार को भारतीय नौसेना के 24वें प्रमुख का कार्यभार संभाल लिया। वह ऐसे पहले हेलिकॉप्टर पायलट हैं जो बल का संचालन करेंगे। उन्होंने एडमिरल सुनील लांबा की जगह ली है। करीब चार दशक के उत्कृष्ट कॅरियर के बाद लांबा सेवानिवृत्त हो गए हैं। शीर्ष पद पर नियुक्ति से पहले सिंह विशाखापत्तनम में पूर्वी नौसेना कमान के फ्लैग ऑफिसर कमांडिंग इन चीज (एफओसी-इन-सी) थे।
नौसेना प्रमुख के तौर पर एडमिरल सिंह की तत्काल प्राथमिकता नए जंगी जहाजों, पनडुब्बियों एवं विमानों को शामिल कर भारतीय नौसेना के आधुनिकीकरण में लंबे समय से चली आ रही देरी को जल्द से जल्द पूरा करना है। फिलहाल नौसेना में करीब 132 जहाज, 220 विमान और 15 पनडुब्बियां हैं। एडमिरल सिंह की हिंद महासागर क्षेत्र में भारत की मौजूदगी के विस्तार और समग्र प्रभाव पर फोकस करने की भी संभावना है। हिंद महासागर में चीन बहुत तेजी से अपनी उपस्थिति बढ़ा रहा है।
सिंह की पदोन्नति को अंडमान निकोबार कमान के कमांडर इन चीफ वाइस एडमिरल बिल वर्मा ने वरियता के आधार पर चुनौती दी थी। हालांकि रक्षा मंत्रालय ने वाइस एडमिरल वर्मा की याचिका खारिज कर दी, जिसके बाद सिंह ने सैन्य न्यायाधिकरण का रुख किया था। सशस्त्र बल न्यायाधिकरण ने नए नौसेना प्रमुख के तौर पर एडमिरल सिंह के प्रभार संभालने को हरी झंडी दे दी और कहा कि इस पद पर उनका बना रहना मामले में सुनवाई के नतीजों पर निर्भर करेगा। न्यायाधिकरण ने मामले में अगली सुनवाई के लिये 17 जुलाई की तारीख तय की है। एडमिरल सिंह के इस पद पर नवंबर 2021 तक बने रहने की संभावना है।