आईएएस अधिकारी की जमानत के खिलाफ याचिका खारिज


कोच्चि, 13 अगस्त  केरल उच्च न्यायालय ने निलंबित आईएएस अधिकारी श्रीराम वेंकटरमन को दी गई जमानत रद्द करने की मांग वाली याचिका मंगलवार को खारिज कर दी। उन्हें कथित तौर पर शराब पीकर गाड़ी चलाने और एक पत्रकार को नशे की हालत में कुचल देने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।
राज्य सरकार की तरफ से पेश याचिका को खारिज करते हुए न्यायमूर्ति राजा विजयराघवन ने कहा कि मामले में अधिकारी को हिरासत में लेकर पूछताछ किए जाने की जरूरत नहीं है। याचिका में मजिस्ट्रेट की अदालत के आदेश को चुनौती दी गई थी।
अदालत ने यह भी टिप्पणी की कि यह साबित करने के लिए तथ्य नहीं हैं कि आईएएस अधिकारी गाड़ी चलाते समय शराब के नशे में थे।
बहरहाल, इसने कहा कि मामले की पुलिस जांच में गड़बड़ी है।
अदालत ने कहा कि मामले की जांच में पुलिस ने पेशेवर रूख नहीं अपनाया। उसने कहा कि वेंकटरमन के खून के नमूने एकत्रित करने में जांच अधिकारी ने विलंब किया।
उच्च न्यायालय ने सात अगस्त को मजिस्ट्रेट की अदालत के आदेश पर रोक लगाने से इंकार कर दिया जिसमें भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) के निलंबित अधिकारी को जमानत दी गई थी।
केरल सरकार ने अपनी अपील में तिरुवनंतपुरम के न्यायिक मजिस्ट्रेट (प्रथम श्रेणी) द्वारा उन्हें दी गई जमानत को रद्द करने की मांग की थी।
मजिस्ट्रेट की अदालत ने निलंबित अधिकारी के रक्त के नमूने पर विचार करते हुए छह अगस्त को उन्हें जमानत दे दी जिसमें शराब के अंश नहीं पाए गए थे।
आईएएस अधिकारी को तीन अगस्त को गिरफ्तार किया गया था । उन पर आरोप है कि एक निजी पार्टी से कथित तौर पर नशे की हालत में लौटते वक्त लग्जरी कार से उन्होंने पत्रकार के. मुहम्मद बशीर को कुचल दिया, जिससे पत्रकार की घटनास्थल पर ही मौत हो गई थी।